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चित्र: ब्याम शॉ - वसंत जागरण |
आज 21 मार्च को महाविषुव है। दिन और रात की अवधि में केवल 42 सेकेंड का अंतर जो वर्ष का न्यूनतम होगा। सूर्योदय ठीक प्राची दिशा में।
सूर्यगति पद्धति से यह नववर्ष का पहला दिन है। चन्द्रगति से तालमेल बैठाने के कारण
हिन्दू नववर्ष का पहला दिन 10 दिन बाद होगा।
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पलाश पुष्प |
वसंत अपने पूर्ण यौवन में। सम तापमान - न अधिक जाड़ न अधिक गर्मी, सुहानी ऋतु। पुष्पों की बहार है
और नवसृजन को प्रकृति पर कामज्वर का खुमार है। इसे आप कैसे मनायेंगे? प्रियतम के साथ सुहानी रात में? अच्छा हो कि इस रात
कुछ तारों और नक्षत्रों से भी मित्रता कर ली जाय!
अप्रैल, मई और जून के महीने (चैत्र, वैशाख, ज्येष्ठ) तारों को निहारने के लिये सर्वोत्तम महीने हैं - साफ आकाश और ठंड
ग़ायब!
पंजाबियों! बैसाखी कब है?
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आभार: सुप्रीति चौहान
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सूर्य उत्तर भाद्रपद नक्षत्र पर चन्द्रमा विशाखा नक्षत्र पर
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आज रात और दिन बराबर हैं, जितना अधिकार सूर्य का, उतना ही चन्द्र का, वसन्त का मध्य, मध्यमना का साध्य।
जवाब देंहटाएंआधा आधा ।
जवाब देंहटाएंउनका क्या जो रोजी के चक्कर में घर से दूर अकेले खट रहे हैं? जो बिस्तर के दोनो तरफ़ से उतर सकते हैं और जिनके लिए दिन रात का अंतर केवल जागने-सोने का अन्तर है, काम करने और आराम करने का अन्तर है?
जवाब देंहटाएंउफ़्फ़्...। रंग में भंग टाइप हो गया न?
:) उनके लिये मई दिवस है - 1 मई।
हटाएंबिस्तर के दोनों तरफ से उतरने को थोड़ा विस्तार से समझाइये।
हटाएंबैसाखी कब होती है, क्यों मनाई जाती है आदि के लिये देखें -
जवाब देंहटाएंhttps://www.google.co.in/url?sa=t&rct=j&q=&esrc=s&source=web&cd=7&ved=0CEcQFjAG&url=http%3A%2F%2Fwww.baisakhifestival.com%2F&ei=nX0uU6foEY77rAeMoICoAw&usg=AFQjCNEqYftEIHTWsHhsRILhnUGqKfQi1A
खालसा पंथ की नींव भी बैसाखी वाले दिन रखी गई थी, जलियांवाला बाग नरसंहार भी बैसाखी वाले दिन ही हुआ था।
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